लोकगीत : वस्त्र धारण :
दुल्हा पहिराओ लाडि़ल रे बरना
कहीं देखो री मेरी नंद जी को बरना
लगन लखाओ लाडि़ल रे बरना
तमोली की हाट बीड़ा मोलाओ लाडि़ल रे बरना
हलवाई की हाट चीनी मोलाओ लाडि़ल रे बरना
दर्जी की हाट लाडि़ल रे बरना
कुर्ता सिलाओ टोपी सिलाओ लाडि़ल रे बरना
रंगरेज की हाट लाडि़ल रे बरना
कुर्ता रंगाओ धोती रंगाओ लाडि़ल रे बरना
बिसाती की हाट लाडि़ल रे बरना
सेहरा मोलाओ लाडि़ल रे बरना
मुसविर की हाट लाडि़ल रे बरना
मुकुट मोलाओ लाडि़ल रे बरना
दुल्हा भैया लाडि़ल रे बरना
कुसुमी रंग लागो हलदी रंग लागो लाडि़ल रे बरना
कहीं देखो री मेरी नंद जी को बरना
दुल्हा पहिराओ लाडि़ल रे बरना ….